वाट्सएप : दो नये फीचर जो हमेंं और हमारे डेटा को सुरक्षित बनाने में सहायक हो सकते हैं

2469

देश के वर्तमान हालात में बेहद महत्वपूर्ण बताए जा रहे ये फीचर वाट्सएप में जल्द ही जुड़ने वाले हैं

( रिपोर्ट : स्वाति झा, साभार : सत्याग्रह.कॉम, फोटो : यूट्यूब)

मम्मियों का पसंदीदा और सबसे ज्यादा यूज होने वाला मैसेंजिंग ऐप वाट्सएप ने कम समय में बहुत बड़ी तादाद में लोगों को अपना आदी बनाया है. सुबह आंख खुलने से लेकर रात में नींद आने तक हम बार-बार वाट्सएप चेक करना नहीं भूलते हैं. यूजर्स को टेक्स्ट, वीडियो, और ऑडियो मैसेजेस के साथ ही वॉइस और वीडियो कॉलिंग की सुविधा भी वाट्सएप पर मिलती है. ऐसे ढेरों फीचर्स देने के बाद भी वाट्सएप लगभग हर महीने कोई न कोई नया फीचर लॉन्च करता ही रहता है. इसी क्रम को आगे बढ़ाते हुए वह जल्द ही ऐसे दो फीचर लॉन्च करने जा रहा है जिन्हें हमारी और हमारे डाटा की सुरक्षा की दृष्टि से बेहद महत्वपूर्ण माना जा रहा है.

एक ही मैसेज पांच से ज्यादा लोगों को नहीं भेजा जा सकेगा

तकनीक ऐसी चीज है जिसका सही इस्तेमाल अगर आपको बना सकता है तो गलत इस्तेमाल आपको बिगाड़ भी सकता है. वाट्सएप का भी यही हाल है. ज्यादातर लोग बिना किसी पुष्टि के मैसेजेस को बड़ी जल्दबाजी में फॉरवर्ड कर देते हैं. इनमें से अधिकतर बातें झूठी या अंधविश्वास पैदा करने वाली भी होती हैं जिनसे अफवाहों को बढ़ावा मिलता है. इन तमाम बातों को ध्यान में रखकर ही वाट्सएप में यह नया फीचर जोड़ा जा रहा है. इस फीचर के आने के बाद एक यूजर एक मैसेज को सिर्फ पांच लोगों को ही फॉरवर्ड कर सकेगा. फॉरवर्ड करते समय पांच यूजर्स का नाम चुनने के बाद बाकी के नामों के लिए सलेक्शन का ऑप्शन डिसेबल हो जाएगा. माना जा रहा है कि इस फीचर के आने के बाद बढ़ती अफवाहों की संख्या में कमी आ सकती है.

हाल ही में सुरक्षा की दृष्टि से ही वाट्सएप में एक और फीचर जोड़ा गया है. इसकी मदद से हम यह जान सकते हैं कि मैसेज भेजने वाले ने कौन सा मैसेज फॉरवर्ड किया है और कौन सा उसने खुद लिखा है. इससे फायदा यह हुआ है कि कौन सा मैसेज किसने लिखकर भेजा है इस बात का पता अब आसानी से लगाया जा सकता है.

लेकिन, बताया जाता है कि ‘ब्रॉडकास्ट मैसेजेस’ के मामले में ये दोनों ही फीचर काम नहीं करेंगे. अगर कोई यूजर किसी फॉरवर्डेड मैसेज को कॉपी पेस्ट करके ब्रॉडकास्ट करता है तो उस मैसेज पर दूसरे लोगों को फॉरवर्ड लिखा नहीं दिखेगा और साथ ही ब्रॉडकास्ट के जरिए इसे पांच से ज्यादा लोगों को फॉरवर्ड भी किया जा सकेगा. ऐसे में अफवाहें रोकने के लिए यह अपडेट कितनी कारगर साबित होगी इसका पता तो अपडेट आने के बाद ही चलेगा.

सस्पीशियस लिंक्स को रेड मार्क किया जाएगा

सस्पीशियस लिंक मतलब फर्जी लिंक. कई बार वाट्सएप पर हमें कुछ ऐसे मैसेज आते हैं जिनमें कुछ लिंक भी मौजूद होते हैं. इनमें से कुछ लिंक सही होते हैं और कुछ वायरस से भरी वेबसाइटों पर यूजर को रिडायरेक्ट करते हैं. कौन सा लिंक सही है और कौन सा गलत इसका पता तब तक नहीं चलता जब तक उस लिंक पर क्लिक नहीं किया जाए. लेकिन, क्लिक करने के बाद यूजर को संभलने का मौका नहीं मिलता और अगर लिंक फर्जी होता है तो फोन में वायरस आने में देर नहीं लगती.

लोगों को इसी मुसीबत से छुटकारा दिलाने के लिए वाट्सएप यह नया फीचर ला रहा है, जो यह बताएगा कि कौन सा लिंक फर्जी है और कौन सा नहीं. इस फीचर के तहत वाट्सएप में एक फिल्टर दिया जाएगा जिससे फर्जी लिंक का पता लगेगा. अक्सर इन लिंक्स के साथ कुछ ऐसी लाइनें भी लिखी जाती हैं, जो यूजर्स को उस पर क्लिक करने के लिए उकसाती हैं. यह फिल्टर ऐसी लाइनों को डिटेक्ट कर लेगा. जैसे ही कोई फर्जी लिंक आपके इनबॉक्स में आएगा यह फिल्टर उसे रेड मार्क कर देगा. इसके बाद जब यूजर उस लिंक पर क्लिक करेगा तो उसे लिंक के फर्जी होने का अलर्ट मैसेज दिखेगा. इस अलर्ट मैसेज में यूजर्स को ‘ओपन लिंक’ और ‘गो बैक’ दो ऑप्शन दिखाई देंगे. साफ़ है कि यूजर ‘गो बैक’ के ऑप्शन पर क्लिक करके फर्जी मैसेज के जाल में फंसने से बच सकता है.

अपना उत्तर दर्ज करें

Please enter your comment!
Please enter your name here

This site uses Akismet to reduce spam. Learn how your comment data is processed.