कल किए जाएंगे खाक ए सुपुर्द
बीकानेर। शहादत के पर्व मोहर्रम की तैयारियां बीकानेर में भी जोरशोर से चल रही है। शहर के अलग-अलग मोहल्लों में ताजियादारों ने ताजियों को अंतिम रूप देना शुरू कर दिया है। कलात्मक ताजियों में कलाकारों की श्रद्धा, अकीदत और कला का अद्भुत संगम नजर आ रहा है।
बीकानेर में मोहर्रम पर बनने वाले ताजिये अपनी विशेष कला से पूरे प्रदेश में अलग पहचान रखते हैं। इन ताजियों को मुगलकला, उस्ताकला सहित देशी कला से सजाया जाता है।
मोहल्ला चूनगरान में बिशारत अली सहित कई साथी कलाकारों ने इस बार ताजिये के एक रुख पर ईरान में बनी कर्बला के दृश्य को उकेरा है। वहीं तीन रूखों पर मलेशिया की अलग-अलग मस्जिदों के दृश्य उकेरे हैं।
बिशारत अली ने बताया कि इस ताजिये को बनाने के लिए कई कलाकार पिछले तीन महीने से काम कर रहे हैं।
मोहर्रम की 9 तारीख यानि आज इन ताजियों को निकाला जाएगा तथा 10 तारीख यानि कल शाम को ठंडा किया जाएगा।
लकड़ी, गत्ता और कागज से तैयार कर ताजियों पर कलात्मक एवं बारीक कारिगरी की गई है। मोहल्ला चूनगरान के इस ताजिये में मुगलकला और देशी कला के साथ पारम्परिक रंगों से कलाकृतियां बनाई जा रही है।
ताजिये तैयार करने वाले कलाकारों के अनुसार इस्लाम के पैगम्बर हजरत मोहम्मद साहब के नवासे हजरत इमाम हुसैन की याद में बनने वाले ताजियों के माध्यम से सच्चाई और इंसानियत की राह पर चलने का पैगाम दिया जाएगा।