वसुंधरा राजे के निशाने पर गजेंद्रसिंह शेखावत?

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Gajendra Singh Shekhawat on Vasundhara Raje's target?

आखिर किसके इशारे पर विरोध कर रहे भाजपा नेता बाबूसिंह राठौड़ ?

दोनों नेताओं की तकरार ने चढ़ाया सियासी पारा

बीकानेर। लोकसभा चुनाव से पहले जोधपुर में भाजपा नेताओं की गुटबाजी सामने आई है। केंद्रीय मंत्री गजेंद्रसिंह शेखावत और बीजेपी के शेरगढ़ विधायक बाबूसिंह राठौड़ की तकरार ने सियासत में पारा चढ़ा दिया है। दोनों नेताओं के बीच सार्वजनिक मंच पर हुई तकरार के बाद बीजेपी में हलचल मची हुई है। बाबूसिंह राठौड़ की ओर से अचानक यूं किए गए हमले से सियासत भी हैरान है। सियासी गलियारों में इसको लेकर कई मायने निकाले जा रहे हैं। दूसरी तरफ माना जा रहा है कि शेखावत के लिए लोकसभा चुनाव में सियासी सफर के दौरान कई मुश्किलें खड़ी हो सकती हैं।


राजनीतिक विश्लेषकों के अनुसार शेरगढ़ विधायक बाबूसिंह राठौड़ की ओर से सार्वजनिक मंच पर केंद्रीय मंत्री के साथ हुई अनबन से सियासी पारा चढ़ गया है। बीजेपी की सियासत में इस घटनाक्रम से हलचल मची हुई है। चर्चा है कि आखिर विधायक राठौड़ ने किसके इशारे पर यह बगावत करने की कोशिश की? चर्चा यह भी है कि बीजेपी में शेखावत के विरोध में लामबंदी की जा रही है। जिसका उदाहरण गत दिनों जोधपुर में देखने को मिला था। जहां गजेंद्रसिंह के खिलाफ शहर में पोस्टर और बैनर लगे। हालांकि यह बैनर लगाने के पीछे किसके हाथ था? यह अभी तक सामने नहीं आ पाया है। लेकिन माना जा रहा है कि गजेंद्रसिंह शेखावत के खिलाफ एक गुट सक्रिय है। जिससे आने वाले लोकसभा चुनाव में शेखावत के लिए परेशानी खड़ी हो सकती है।


राजनीतिक लोगों में इस बात पर भी चर्चा है कि शेखावत की वजह से बाबूसिंह राठौड़ मंत्री नहीं बन पाए। हालांकि बाबूसिंह राठौड़ कई बार विधायक रह चुके हैं। ऐसे में इस बार यही माना जा रहा था कि उन्हें मंत्रिमंडल में शामिल किया जा सकता है। लेकिन उन्हें यह मौका नहीं मिला। बताया जा रहा है कि राठौड़ इसके लिए शेखावत को जिम्मेदार मानते हैं।

वसुंधरा राजे और शेखावत गुट के टकराव का पार्टी को हो सकता है नुकसान


लोकसभा चुनाव नजदीक है और बीजेपी लगातार तैयारी में जुटी हुई है। इस बीच शेखावत को लेकर जोधपुर में हुए विरोध को लेकर सियासी चर्चा चल रही है। विधानसभा चुनाव के दौरान गजेंद्रसिंह शेखावत भी मुख्यमंत्री के चेहरे के तौर पर देखे जा रहे थे। इस दौरान चर्चा थी कि शेखावत ने वसुंधरा राजे को लेकर विरोध किया था। जिसके कारण वसुंधरा राजे के समर्थक शेखावत से नाराज हैं। विश्लेषकों के अनुसार वसुंधरा राजे के समर्थकों का यही मानना है कि शेखावत की वजह से ही वसुंधरा राजे मुख्यमंत्री नहीं बन पाई। इससे दोनों गुटों के टकराव से लोकसभा चुनाव में नुकसान होने की संभावनाएं जताई जा रही है।

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