उद्योग का दर्जा देने की मांग
बीकानेर। कोरोना ने टैंट व्यवसाय की कमर तोड़ दी है। लॉकडाउन में तो कारोबार पूरी तरह से चौपट हो गया है। टैंट व्यवसायियों ने आज मीडिया के माध्यम से सरकार से सहायता की मांग की है।
बीकानेर जिला टैंट व्यवसायी संघ के अध्यक्ष पूनमचंद कच्छावा ने बताया कि जीएसटी व अन्य प्रकार के टैक्स देने के बाद भी टैंट व्यवसाय को उद्योग का दर्जा नहींं दिया जा रहा है। जिसके कारण केन्द्र व राज्य सरकार की ओर से उद्योगों को मिलने वाले लाभ-परिलाभ व अन्य छूटों का टैंट व्यवसायियों को कोई फायदा नहीं मिल पा रहा है। जबकि इस व्यवसाय से जुड़े लोग सरकार के आयोजनों का अहम हिस्सा होते हैं।
कच्छावा ने कहा कि दुर्भाग्य की बात है कि केन्द्र व राज्य सरकारों ने टैंट व्यवसायियों और उनसे जुड़े उद्योगों को किसी भी श्रेणी में शामिल नहीं किया। जिसके कारण आज यह व्यवसाय खत्म होने की कगार पर आ गया है। इस व्यवसाय से प्रत्यक्ष व अप्रत्यक्ष रूप से जुड़े 1500-2000 लोगों के परिवार पर भी आर्थिक संकट गहरा गया है। जिसके कारण टैंट व्यवसायियों का जीविकोपार्जन मुश्किल हो गया है। पत्रकार वार्ता में बुलाकी चौधरी, लोकेश चतुर्वेदी, राजेन्द्र काला, राधेश्याम गहलोत, मनीष दम्माणी, मनोज तिवाड़ी, राजेन्द्र सांखला, किसनलाल प्रजापत, विजेन्द्र भाटी, प्रेमरतन गहलोत, तोतारामए,भीमसेन शर्मा, मदन पुरोहित सहित कई टैंट व्यवसायी मौजूद रहे।
Kamal kant sharma and Bhawani joshi newsfastweb.com