विधानसभा भवन : 23 साल में 15 विधायकों का निधन, 5 को जेल

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Assembly building: 15 MLAs died in 23 years, 5 were jailed
photo by google

क्या सच में है विधानसभा भवन पर काली हवाओं का साया ?

वर्ष,2018 में पहली बार उठा था सदन में भूत-प्रेत का मुद्दा

बीकानेर। आखिर क्या कारण है कि प्रदेश के विधानसभा भवन में कभी भी पूरे दो सौ विधायक एक साथ नहीं बैठ पाते हैं। क्या हकीकत में विधानसभा में काली हवाओं का साया है। करणपुर से कांग्रेस प्रत्याशी गुरमीतसिंह कुन्नर के निधन के बाद फिर वही रिवाज बन गया है, क्योंकि इस बार भी चुनाव दो सौ सीटों पर नहीं होंगे बल्कि 199 सीटों पर ही होगा।


सियासी गलियारों में पंहुच रखनेे वालों के अनुसार प्रदेश के विधानसभा भवन में एक साथ दो सौ विधायक नहीं बैठे देखे हैं। वर्ष, 2013 से तो ये सिलसिला लगातार चला आ रहा है। ऐसे में ये सवाल उठने लाजमी हैं कि आखिर क्यों विधानसभा में कभी भी पूरे 200 विधायक एक साथ नहीं बैठ पाते? क्या विधानसभा में भूत प्रेत का साया है? क्या यह आलीशान विधानसभा श्मशान की जमीन पर बनी है? क्या वाकई इस विधानसभा के भीतर वास्तु दोष है? क्या विधानसभा पर काली हवाओं का साया है?
इस विधानसभा को लेकर इस प्रकार के सवाल इसलिए उठते आए हैं कि कभी भी 200 विधायक एक साथ नहीं बैठे सदन में। कभी किसी न किसी विधायक की मौत हो जाती है या फिर सरकार पर सियासी संकट मंडराता है। विधायक व मंत्री जेल तक चले जाते हैं।

अबकी बार भी कुछ इसी तरह का अजीबोगरीब इत्तेफाक हुआ है। वर्ष, 2013 और 2018 के चुनावों के साथ इस बार के चुनावों में भी सभी 200 सीटों पर मतदान नहीं होगा। सिर्फ 199 सीटों पर मतदान होगा। क्योकि अबकी बार भी मतदान से पहले करणपुर सीट पर कांग्रेस पार्टी के उम्मीदवार का देहांत हो गया। इस बार भी प्रदेश की विधानसभा में एक फिर वही पुराना रिवाज दोहराया जाने वाला है। वर्ष, 2018 में पहली बार सदन में भूत-प्रेत का मुद्दा भी उठ चुका है।


जानकारों के अनुसार वर्ष, 2000 में नई बिल्डिंग में विधानसभा भवन शिफ्ट होने के बाद से ही यह संयोग है कि यहां कभी 200 विधायक एक साथ नहीं बैठे। अब तक 15 विधायकों की मौत हो चुकी है। वहीं 5 विधायक हत्या जैसे मामलों में जेल जा चुके हैं। वर्ष, 2008 से 2013 में कांग्रेस राज में किसी विधायक का निधन नहीं हुआ, लेकिन चार विधायक अलग-अलग कारणों से जेल चले गए। वर्ष, 2018 से 2023 के कार्यकाल में 6 विधायकों का निधन हुआ है।

5 साल में 6 विधायकों का निधन


सहाड़ा से कैलाश त्रिवेदी, सुजानगढ़ से मास्टर भंवरलाल मेघवाल, राजसमंद से किरण माहेश्वरी, वल्लभनगर से गजेंद्रसिंह शक्तावत, धरियावद गौतम मीणा, सरदारशहर पंडित भंवरलाल शर्मा का निधन हुआ। जिसके बाद उपचुनाव करवाने पड़े।

तांत्रिक को बुलाया था विधानसभा में


जानकारों के अनुसार नागौर के पूर्व विधायक हबीबुर्रहमान ने कहा था कि विधानसभा में भूत-प्रेत का साया है। यही बात तत्कालीन मुख्य सचेतक कालूलाल गुर्जर भी कह चुके हैं। यहां तक कि विधानसभा भवन में भूत-प्रेत का साया ढूंढने के लिए वर्ष, 2018 में एक कथित तांत्रिक को भी बुलाया गया था। वर्ष, 2008 के विधानसभा चुनाव में मात्र 1 वोट से वर्तमान विधानसभा अध्यक्ष डॉ. सीपी जोशी को हराकर चर्चा में रहे नाथद्वारा विधायक कल्याणसिंह चौहान के निधन के बाद विधानसभा में भूत-प्रेतए, वास्तु दोष का मामला उठा साथ ही दोष दूर करने के लिए अनुष्ठान करवाने की मांग भी उठ चुकी है।

#KAMAL KANT SHARMA / BHAWANI JOSHI www.newsfastweb.com

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