प्रदेश कार्यकारिणी के साथ जिलाध्यक्षों में हो सकता है फेरबदल।
बीकानेर। लोकसभा चुनाव के 23 मई को आने वाले परिणाम चाहे कुछ भी रहें लेकिन प्रदेश में सत्तारूढ़ कांग्रेस पार्टी में बड़े बदलाव होने के संकेत मिल रहे हैं। संगठन में ऊपर से लेकर नीचे तक के पदाधिकारियों को बदले जाने की तैयारी हो चुकी है।
पार्टी से जुड़े सूत्रों के मुताबिक बदलाव को लेकर संगठन के भीतर मंथन भी किया जा रहा है। पार्टी के आला नेता भी इसके संकेत दे चुके हैं कि चुनाव परिणाम आने के बाद संगठन में बड़े बदलाव तय हैं। कांग्रेस के सियासी गलियारों में इस बारे में चर्चा की जा रही हैं। इसके बाद से संगठन में लंबे समय से पद पर जमे हुए पदाधिकारियों की धड़कनें तेज हो गई हैं।
सूत्रों के मुताबिक पार्टी के आला नेताओं की ओर से प्रदेश कांग्रेस में ऐसे पदाधिकारियों की रिपोर्ट तैयार की जा रही है, जो कई वर्षों से पदों पर जमे हुए हैं, लेकिन कामकाज के लिहाज से उनकी रिपोर्ट अच्छी नहीं है। ऐसे में उन पदाधिकारियों के स्थान पर विधानसभा चुनाव और लोकसभा चुनाव में पार्टी के बेहतर प्रदर्शन करने वाले कार्यकर्ताओं और नेताओं को मौका दिया जाएगा। हालांकि प्रदेश की कार्याकारिणी में बदलाव विधानसभा चुनाव के बाद ही होना था, लेकिन विरोध न हो, इसके चलते इसे लोकसभा चुनाव तक के लिए टाल दिया गया था। अब लोकसभा चुनाव सम्पन्न होने के बाद फिर से संगठन में बड़े बदलाव की चर्चा तेज हो गई हैं।
चुनाव परिणाम पर निर्भर है जिलाध्यक्षों का भविष्य
सूत्रों के मुताबिक 23 मई के बाद प्रदेश कार्यकारिणी ही नहीं बल्कि पार्टी के जिलाध्यक्षों और एक दर्जन से ज्यादा विभागों और प्रकोष्ठों में भी बदलाव किया जा सकता है। बताया जा रहा है कि जिलाध्यक्षों का भविष्य भी चुनाव परिणामों पर निर्भर करेगा।
दरअसल, कई विभाग और प्रकोष्ठ तो ऐसे हैं, जिनमें वर्षों से कोई बदलाव नहीं हुआ और न ही दिखाने के लिए उनके पास कामकाज का कोई रिपोर्ट कार्ड है।