प्रेमिका के पति की हत्या के अभियुक्त को आजीवन कारावास

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The accused of murderous attack was sentenced to ten years of rigorous imprisonment and fine

60 हजार रुपए का लगाया अर्थदंड भी

अपर सत्र न्यायालय संख्या 7 ने दिया दंडादेश


बीकानेर। हत्या के छह साल पुराने मामले में आज अपर सत्र न्यायालय संख्या 7 की पीठासीन अधिकारी रेणु सिंघला की अदालत ने आरोपी को आजीवन कारावास और 60 हजार रुपए के आर्थिक दंड की सजा सुनाई है। यह राशि जमा नहीं कराने पर आरोपी को अतिरिक्त कठोर कारावास भुगतना होगा।

अपर लोक अभियोजक जगदीश शर्मा के अनुसार यह हत्या प्रेम प्रसंग के चलते की गई थी। आरोपी ने प्रेमिका के पति रिडमलसर निवासी छिनुराम के खेत में घुसकर धारधार हथियारों से उसकी हत्या की थी। इस मामले में अदालत ने रिडमलसर निवासी विक्रम उर्फ सदासुख को दोषी मानते हुए आजीवन कारावास सहित साठ हजार रूपये अर्थदण्ड से दंडित किया हैं। यह अर्थदण्ड की राशि अदालत में जमा नहीं करवाने पर उसे डेढ वर्ष का अतिरिक्त कठोर कारावास भुगतना होगा। इस मामले के एक अन्य अभियुक्त मृतक छिनुराम की पत्नी राधा को संदेह का लाभ दिया जाकर दोषमुक्त कर दिया।अभियोजन पक्ष की ओर से 14 गवाहों के बयान अदालत में करवाए गए।

प्रकरण के अनुसार परिवादी जगाराम ने 19 मई, 2019 को थाना पुलिस जेएनवीसी में रिपोर्ट दर्ज कराई कि उसका छोटा भाई छिनुराम निवासी जामसर के दाउदसर गांव का हैं, जो मोहम्मद सलीम सोढा के खेत नैणों का बास सच्चा सौदा डेरा के पास रिडमलसर में देखभाल करता था। वह खेत में बनी ढाणी में अपनी पत्नी राधा व बच्चों के साथ रहता था। राधा का पीहर गांव रिडमलसर में ही है। राधा के पीहर के पास ही आरोपी का घर था। आरोपी एवं राधा के आपस में संबंध थे।

छिनुराम व उसके परिवारजनों व राधा के पिता ने भी विक्रम और राधा को समझाया था कि यह गलत काम छोड़ दे। विक्रम को भी ढाणी में आने से मना किया, लेकिन वह दोनों नहीं माने और धमकी दी कि उन्हे रोकने की हिम्मत की तो जान से हाथ धोना पडेगा। छिनुराम को आरोपी ने जान से मारने की धमकी दी थी। जिसके बाद छिनुराम ने अपने परिवारजनों व गांव के गणमान्य लोगों को बताया था। 18 मई, 2019 की दोपहर उसके भाई लक्षमण राम ने छिनुराम को फोन किया लेकिन फोन किसी ने नहीं उठाया। उस वक्त वे बीकानेर आये हुए थे, तब परिवादी व मगाराम दोनों रिडमलसर होते हुए उस खेत पहुंचे जिस खेत की रखवाली छीनूराम कर रहा था। वहां उन्होंने खेत के पास देखा कि आरोपी खेत से निकलकर भाग रहा था, जिसके हाथ में गुप्तीनुमा हथियार था। तब वे दौड़कर ढाणी में गये तो वहां छिनुराम खून से लथपथ पड़ा था। उन्होंने छिनुराम को संभाला तब तक उसकी मृत्यु हो चुकी थी। राधा का पता किया तो वो भी गायब थी। अदालत ने आदेश में यह भी कहा कि आरोपी की ओर से जमा करवाई गई अर्थदण्ड की राशि मृतक के बच्चों को बतौर क्षतिपूर्ति दी जावे।

#Kaant K sharma / Bhawani Joshi www.newsfastweb.com

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