अडानी को भी 75 हजार बीघा आवंटित, अब भजनलाल सरकार करेगी सबकी जांच
नेताओं की सिफारिश पर जमीनें आवंटित, चुनाव से दो महीने पहले 200 समाजों को भूमि
बीकानेर। पूर्ववर्ती गहलोत सरकार ने अपने कार्यकाल के अंतिम छह महीने में छप्पर फाड़ कर रेवडिय़ां बांटी थी। मुफ्त योजनाओं के साथ देश के बड़े उद्योगपति अडानी समूह को प्रदेश के अलग-अलग जिलों में सस्ती दर पर 75 हजार बीघा जमीन दी थी। 25 हजार बीघा जमीन का आवंटन तो केबिनेट की बैठकों में किया गया। पिछले तीन साल में गहलोत सरकार ने कुल 441 संस्थाओं को सस्ती दर पर जमीनें आवंटन की थी। अब भजनलाल सरकार इस मामले की जांच करवाएगी।
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार जांच के लिए सरकार की ओर से हाई पावर कमेटी का गठन किया जाएगा। मंत्रिमंडल का गठन होने के तुरंत बाद जांच शुरू हो जाएगी। सस्ती दर पर जमीनें आवंटन का काम जून, 2020 से ही शुरू हो गया था। साढ़े तीन साल में 441 संस्थाओं को जमीनें अलॉट की गई। अधिकतर संस्थाएं कांग्रेसी विधायकों और नेताओं की सिफारिश पर संस्थाओं और ट्रस्टों को आवंटित की गई। सिर्फ जयपुर जिले में 300 से अधिक संस्थाओं को जमीन अलॉट की गई।
विधानसभा चुनाव से ठीक पहले सितंबर, 2023 में जयपुर में 29, जोधपुर में 44, उदयपुर में 27, कोटा में 21, बाड़मेर में 18, बीकानेर में 12, भीलवाड़ा में 10, भरतपुर में 9, अजमेर में 8, सवाई माधोपुर में 6, पाली में 5, सिरोही, केकड़ी और बालोतरा में 4-4, अलवर और हनुमानगढ़ में 3-3, जैसलमेर में 2, श्रीगंगानगर, बूंदी, फलौदी, बांसवाड़ा, चितौडग़ढ़, दौसा और सीकर में 1-1 भूखंड का आवंटन एक ही बैठक में कर दिया गया था।
20 सितंबर, 2023 को कैबिनेट बैठक में 200 से अधिक समाज, संस्थाओं को भूमि आवंटित की गई। 2 अक्टूबर, 2023 को 80 समाजों को जमीन आवंटन का फैसला लिया गया। 20 नवंबर, 2022 को जयपुर शहर में केवल दो संस्थाओं को ही 5 लाख वर्ग मीटर से ज्यादा (करीब 200 बीघा) जमीन का आवंटन किया गया। 670 करोड़ रुपए की जमीन महज 70 करोड़ में आवंटित की गई थी। 7 मंत्रियों की मंत्री मण्डलीय एम्पावर्ड कमेटी ने जमीन आवंटन पर मुहर लगाई। इन जमीनों की आरक्षित डीएलसी दर 194 करोड़ रुपए थी लेकिन रियायती दर महज 70 करोड़ रुपए में आवंटन किया गया। जमीन की बाजार कीमत 670 करोड़ रुपए हैं।
#KAMAL KANT SHARMA / BHAWANI JOSHI www.newsfastweb.com